इसी बीच हिन्दू सेना के कार्यकर्ताओं ने आज मुंबई के बांद्रा स्थित आमिर के घर के बाहर विरोध प्रदर्शन किया। हालात को देखते हुए आमिर खान की सुरक्षा बढ़ा दी गई है। डीसीपी धनंजय कुलकर्णी ने बताया कि पाली हिल स्थित आमिर के घर के बाहर शाम करीब चार बजे हिन्दू सेना के करीब सात कार्यकर्ताओं ने इकट्ठा होकर विरोध प्रदर्शन करने की कोशिश की। उन लोगों को यह कहते सुना गया कि आमिर को अपना बयान वापस लेना चाहिए और माफी मांगनी चाहिए क्योंकि भारत एक सहिष्णु देश है। पुलिस उपायुक्त ने कहा कि खार पुलिस ने पांच कार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया है और उनके खिलाफ जांच कर उचित कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा, हमने आमिर को उचित पुलिस सुरक्षा प्रदान की है।
इससे पहले मंगलवार को दिन भर आमिर की टिप्पणी पर प्रतिक्रियाओं आती रहीं। भाजपा के अलावा फिल्म जगत के भी आमिर के कई सहयोगियों ने उनपर अपना गुस्सा निकाला। आमिर पर पलटवार करते हुए भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता शाहनवाज हुसैन ने पूछा, आमिर और उनका परिवार भारत के अलावा कहां जाएंगे। शाहनवाज ने आमिर को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि भारत जैसा बेहतर और कोई देश नहीं है और एक भारतीय मुसलमान के लिए एक हिंदू से अच्छा पड़ोसी कोई नहीं है। उन्होंने अन्य देशों की ओर इशारा करते हुए कहा कि मुस्लिम देशों और यूरोप में क्या स्थिति है? हर जगह असहिष्णुता है। उन्होंने कहा, हमारे देश में एक कलाकार को उसकी जाति और धर्म से नहीं बल्कि उसकी कला से जाना जाता है। हुसैन ने आमिर खान के समर्थन में आने के लिए कांग्रेस उपाध्यक्ष को भी निशाने पर लिया। भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि भारत में कांग्रेस ने असहिष्णुता के माहौल का राग छेड़कर देश को बदनाम करने के लिए एक गहरी राजनीतिक साजिश रची है। उन्होंने कहा, कांग्रेस एक निर्वाचित सरकार और लोकप्रिय प्रधानमंत्री को बर्दाश्त नहीं कर सकती है। जब देश नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में तरक्की कर रहा है तो कांग्रेस देश की छवि खराब करने का माहौल तैयार कर रही है। हुसैन ने कहा कि आमिर की टिप्पणियों से पता चलता है कि वह डरे हुए नहीं हैं बल्कि दूसरों को डरा रहे हैं और भाजपा उनके आरोप को खारिज करती है।
वहीं पूर्व में अपने बयानों के लिए सुर्खियों में रहे भाजपा सांसद योगी आदित्यनाथ ने खान पर निशाना साधते हुए कहा कि अगर वह भारत छोड़ना चाहते हैं तो किसी ने भी उन्हें भारत छोड़कर जाने से नहीं रोका है और इससे देश की आबादी कम करने में मदद मिलेगी। केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने भी अतुल्य भारत के ब्रांड एंबेसडर आमिर की आलोचना करते हुए कहा कि यह अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता एवं सहिष्णुता का सबूत है कि आमिर सरकार की एक पहल का ब्रांड एंबेसडर होने के साथ ही मंत्रियों के सामने किसी मंच पर आ सकते हैं और अपने मन की बात कर सकते हैं। ईरानी ने आमिर पर आरोप लगाते हुए कहा कि उनका एक राजनीतिक झुकाव है और यह उनका अधिकार है। केंद्रीय मंत्री किरन रीजिजू ने कहा कि असहिष्णुता संबंधी आमिर की टिप्पणी पूरी तरह गलत है और इस तरह की टिप्पणियों से केवल देश और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की छवि खराब होती है। भाजपा प्रवक्ता नलिन कोहली ने आमिर को याद दिलाया कि उनकी आखिरी फिल्म पीके ने दक्षिणपंथी समूहों के विरोध प्रदर्शनों के बावजूद बॉक्स ऑफिस पर शानदार सफलता हासिल की थी और यह भारत के सहिष्णु समाज का सबूत है।
गौरतलब है कि सोमवार की शाम राजधानी दिल्ली में आयोजित एक पुरस्कार वितरण समारोह के दौरान आमिर ने पिछले छह से आठ महीनों में देश में बढ़ी असहिष्णुता की घटनाओं को लेकर चिंता एवं निराशा जताते हुए कहा था कि उनकी पत्नी किरण राव ने उनसे यहां तक कहा कि उन्हें शायद यह देश छोड़ना पड़े। इंडियन एक्सप्रेस अखबार द्वारा आयोजित रामनाथ गोयनका एक्सीलेंस इन जर्नलिज्म पुरस्कार समारोह में अप्रत्यक्ष रूप से उन लोगों का समर्थन भी किया था जो कि अपने पुरस्कार लौटा रहे हैं। उन्होंने कहा था कि रचनात्मक लोगों द्वारा पुरस्कार लौटाना उनके क्षोभ को प्रकट करने का एक तरीका है।
आमिर के इस बयान के बाद उनपर हो रहे हमलों पर कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने मंगलवार को उनके समर्थन में उतरते हुए सरकार से अपने आलोचकों को देशद्रोही, राष्ट्र विरोधी या प्रेरित करार देने की बजाए लोगों तक पहुंच बनाने के लिए कहा था। राहुल ने एक के बाद एक कई ट्वीट कर कहा सरकार और मोदी जी पर प्रश्न खड़ा करने वालों को गैर राष्ट्रवादी, राष्ट्र विरोधी या पूर्वाग्रह से ग्रस्त बताने के बजाय सरकार बेहतर तरीके से यह कर सकती है कि लोगों तक पहुंच कायम कर पूछे कि उन्हें कौन-सी चीजें परेशान कर रही हैं। जबकि आमिर की टिप्पणी पर पूछे जाने पर महाराष्ट्र के कद्दावर नेता और राकांपा प्रमुख शरद पवार ने कहा कि असहिष्णुता पर अभिनेता आमिर खान की टिप्पणी की अपेक्षा कर्नल संतोष महादिक का सर्वोच्च बलिदान ज्यादा महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा, इस बहादुर अधिकारी का बलिदान उससे ज्यादा महत्वपूर्ण है। पवार कर्नल महादिक के परिवार के सदस्यों से मिलने मंगलवार सतारा जिले के पोगरवाडी गांव में थे। कर्नल महादिक उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा जिले में आतंकवादियों के साथ मुठभेड़ में शहीद हो गए थे।