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नए साल के आगमन से पहले हर तरफ धुआं-धुआं, दिल्ली की आबोहवा फिर हुई 'गंभीर', जानिए आज का एक्यूआई

नए साल के आगमन से पहले हर तरफ धुआं-धुआं, दिल्ली की आबोहवा फिर हुई 'गंभीर', जानिए आज का एक्यूआई

राजधानी दिल्ली में ठंड की मार झेल रहे लोगों को प्रदूषण से राहत मिलने के आसार बहुत कम लग रहे हैं।...
'हरियाणा और उत्तर प्रदेश से पराली का धुआं दिल्ली पहुंच रहा है' - वायु प्रदूषण पर गोपाल राय

'हरियाणा और उत्तर प्रदेश से पराली का धुआं दिल्ली पहुंच रहा है' - वायु प्रदूषण पर गोपाल राय

इन दिनों दिल्ली में वायु प्रदूषण के बढ़ते स्तर के चलते सांस लेना तक मुश्किल है। दिल्ली सरकार ने 10 नवंबर...
मामूली विवादों में जान ले रहे लोग, सिगरेट का धुआं मुंह पर छोड़ने का विरोध करने पर हत्या

मामूली विवादों में जान ले रहे लोग, सिगरेट का धुआं मुंह पर छोड़ने का विरोध करने पर हत्या

ऐसा लगता है लोगों के धैर्य की सीमा दिन-ब-दिन खत्म होती जा रही है। लोग गुस्से से भरे हुए हैं। छोटी-छोटी...
जहरीले धुएं का अभिशाप

जहरीले धुएं का अभिशाप

दुनिया के शीर्ष देशों में गिने जाने वाले भारत की राजधानी अपने ही कर्मों से शापग्रस्त लग रही है। संस्कृति और संपन्नता के उल्लास में करोड़ों रुपयों की आतिशबाजी और सफल पड़ोसी कृषि राज्यों में खेतों की सफाई के लिए लगाई जा रही आग के धुएं से लाखों दिल्लीवासी सांस में जहरीली हवा ग्रहण कर रहे हैं।
कहानी - सहेलियां

कहानी - सहेलियां

प्रसिद्ध कवि और कथाकार प्रियदर्शन का जन्म 24 जून, 1968 को रांची में हुआ। उनकी कई किताबें चर्चित हुई हैं। उसके हिस्से का जादू और बारिश धुआं और दोस्त चर्चित कहानी संग्रह। नष्ट कुछ भी नहीं होता कविता संग्रह। ग्लोबल समय में कविता और ग्लोबल समय में गद्य (आलोचना)। फिल्म आलोचना पर नए दौर का नया सिनेमा नाम से पुस्तक। पत्रकारिता पर खबर-बेखबर नाम से किताब। इतिहास गढ़ता समय नाम से वैचारिक लेखन और जिंदगी लाइव नाम से जल्द ही उपन्यास आने वाला है। अनुवाद की कई किताबें। कविता संग्रह का मराठी में भी अनुवाद।
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