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Search Result : "क्या है एनाफिलैक्सिस"

क्या आप यह कलंक धो पाएगी?

क्या आप यह कलंक धो पाएगी?

आम आदमी पार्टी में यानी आप में जिस तरह जूतम पैजार चल रही है इससे इतना साफ हो जाता है कि पार्टी नेतृत्व किसी भी तरह की आलोचना सुनने के लिए तैयार नहीं है। पार्टी के संस्थापक सदस्य प्रशांत भूषण, योगेंद्र यादव, आनंद कुमार और अजीत झा को राष्ट्रीय कार्यकारिणी से निकाला जा चुका है। पार्टी प्रमुख अरविंद केजरीवाल और उनके गुट की निरंकुशता के किस्से मीडिया में आम हैं।
प्रशांत-योगेंद्र ने क्या लिखा खत में

प्रशांत-योगेंद्र ने क्या लिखा खत में

आप नेता योगेन्द्र यादव ने आज एक नोट सार्वजनिक किया जिसे उन्होंने प्रशांत भूषण के साथ मिलकर लिखा है और उन्होंने 17 मार्च को पार्टी को भेजा था जिसमें प्रस्ताव दिया था कि उनकी मांगें स्वीकार किए जाने पर वे पार्टी के सभी पदों से इस्तीफा दे रहे हैं।
क्या आपको इस बैंक पर यकीन होगा?

क्या आपको इस बैंक पर यकीन होगा?

िववादों से घिरे एचएसबीसी बैंक की प्रमुख नैना लाल किदवई ने हाल ही में एक दिन अपने बैंकर मित्र से अपनी स्थिति का बचाव कुछ यूं कियाः ‘मैं अपने दिल पर हाथ रखकर कह सकती हूं कि एचएसबीसी इंडिया बेदाग है।’ सेवानिवृत्त उस बैंकर ने बताया कि किदवई ने सौगंध खाई कि भारतीय शाखा किसी ऐसे गलत आचरण अछूती रही है जिसमें एचएसबीसी की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बदनामी हो रही है।
आप का एजेंडा क्या है

आप का एजेंडा क्या है

क्या आम आदमी पार्टी (आप) सचमुच लोकतांत्रिक मूल्यों या सामाजिक सरोकारों के लिए लड़ना चाहती है या जैसे-तैसे चुनाव जीतना ही इसका पहला मक़सद है? पार्टी के भीतर चल रही उथल-पुथल से यह अहम सवाल पैदा होता है।
क्या भारत में ईमानदारी की सजा मौत हो गई है

क्या भारत में ईमानदारी की सजा मौत हो गई है

बेंगलूरू में आइएएस अफसर डीके रवि की मौत ने कई सवाल पैदा किये हैं। रवि की छवि एक ईमानदारी अधिकारी की थी। उनकी सख्ती की वजह से रेता और खनन माफिया के लिए मुश्किलें खड़ी हो गई थीं। माना जा रहा है कि उनकी हत्या के पीछे भी माफिया का हाथ है। इससे पहले भी उत्तर प्रदेश के मंजूनाथ और नरेंद्र कुमार सिंह समेत देश के कई राज्यों में ईमानदार अफसर अपनी जान गंवा चुके हैं। कुछ को अपनी ईमानदारी की वजह से दूसरी मुश्किलें झेलनी पड़ती हैं। जिस तरह से भारत में भ्रष्टाचार संस्थागत रूप लेता जा रहा है इसने ईमानदार और उसूल वाले लोगों का जीना दूभर कर दिया है।
क्या फिर शाह या मात

क्या फिर शाह या मात

भारतीय जनता पार्टी में नए अध्यक्ष के लिए अक्टूबर-नवंबर को होने वाले चुनाव को लेकर सुगबुगाहट अभी से तेज हो गई हैं।
मैं जानता हूं, आप क्या हैं-शरद यादव

मैं जानता हूं, आप क्या हैं-शरद यादव

जनता दल यूनाइटेड के राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद यादव ने केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री स्मृति ईरानी पर जो टिप्पणी की वह संसद के गलियारे में चर्चा का विषय बन गया। दरअसल महिलाओं के खिलाफ विवादित टिप्पणी को लेकर आलोचना का सामना कर रहे शरद यादव अपने बयान से पीछे हटने को तैयार नहीं हुए और कहा कि वह इस मुद्दे पर बहस के लिए तैयार हैं।
बजट: क्या सस्ता-क्या महंगा

बजट: क्या सस्ता-क्या महंगा

धूम्रपान व अन्य तंबाकू उत्पादों का इस्तेमाल अब महंगा होगा। वहीं सेवा कर की दरों में बढ़ोतरी से कई सुविधाएं मसलन होटल में खाना, हवाई यात्रा या बिलों का भुगतान महंगा हो जाएगा।
नीतीश, लालू, मांझी और भाजपा के सामने क्या है चुनौती

नीतीश, लालू, मांझी और भाजपा के सामने क्या है चुनौती

बिहार में भारतीय जनता पार्टी की जीतनराम मांझी को बचाने की रणनीति बुरी तरह से फ्लाप हो गई। अंतत: बाजी नीतीश कुमार ने मारी और एक बार फिर राज्य के मुख्यमंत्री पर आसीन हो गए।
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