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इशरत मामले में हलफनामे पर भाजपा का सोनिया पर करारा हमला

इशरत जहां मामले में सोनिया गांधी पर नए सिरे से निशाना साधते हुए भाजपा ने मंगलवार को आरोप लगाया कि कांग्रेस अध्यक्ष ने तत्कालीन गृह मंत्री पी चिदंबरम को मामले में दूसरा हलफनामा दाखिल करने को कहा था क्योंकि संप्रग आतंकवादियों को तो बर्दाश्त कर सकती थी लेकिन प्रधानमंत्री के तौर पर नरेंद्र मोदी को नहीं।
इशरत मामले में हलफनामे पर भाजपा का सोनिया पर करारा हमला

भाजपा के प्रवक्ता संबित पात्रा ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि चिदंबरम बताएं कि उनसे किसने हलफनामे में बदलाव करने को कहा था जिसमें इशरत के लश्कर-ए-तैयबा के सदस्य होने और गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री मोदी के जीवन को खतरे होने के संदर्भ थे। उन्होंने साफ तौर पर कांग्रेस अध्यक्ष का जिक्र करते हुए कहा, श्रीमान पी चिदंबरम देश को बताएं। षड़यंत्र रचने वाली कौन थीं? क्योंकि हम सब जानते हैं कि कांग्रेस पार्टी एक ही पते से चलती है। आप पता जानते हैं। रिमोट कंट्रोल वही चलाती हैं। पात्रा ने आरोप लगाया कि सोनिया गांधी, तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और चिदंबरम ने इशरत के आतंकवादी होने तथा मोदी की जान को खतरा होने के बारे में एनआईए तथा अमेरिकी जांच एजेंसी एफबीआई द्वारा दी गई जानकारी दबाई। पात्रा ने आरोप लगाया, आप मोदी को बर्दाश्त नहीं कर सकते थे क्योंकि आपको उनके प्रधानमंत्री बनने का डर था। लेकिन पी चिदंबरम की साजिश बेकार चली गई। उन्होंने आरोप लगाया कि संप्रग सरकार के इस कदम से लोकतंत्र की जड़ों पर प्रहार हुआ है। संप्रग सरकार को पता था कि इशरत जहां एक आत्मघाती हमलावर थी। 

 

यह पूछे जाने पर कि क्या सरकार इस मामले में कोई कार्रवाई करेगी, पात्रा ने कहा कि कानून अपना काम करेगा और साजिशकर्ता कठघरे में होंगे। इशरत 2004 में गुजरात पुलिस के एनकाउंटर में मारी गई थी। अदालत की निगरानी में हुई सीबीआई जांच में पता चला कि मुठभेड़ फर्जी थी और सितंबर 2009 में मामले में दूसरा हलफनामा दाखिल होने के बाद बड़ा विवाद खड़ा हो गया जिसमें पहले के उलट उसके लश्कर से संदिग्ध संबंधों का कोई संदर्भ नहीं था। पहले हलफनामे में चिदंबरम के दस्तखत होने की खबरों को लेकर उन पर निशाना साधते हुए पात्रा ने कहा कि बड़े नाम और पहचान वाले वकील अब कुछ कह नहीं पा रहे क्योंकि पहले वह दावा करते रहे थे कि उन्होंने इस पर हस्ताक्षर नहीं किए थे। पात्रा ने प्रहार जारी रखते हुए कहा, ताजा जानकारी से साबित हो गया है कि आतंकवादियों को लेकर कांग्रेस नेताओं की एक विशेष सोच थी। मसलन ओसामा बिन लादेन को ओसामा जी कहना और हाफिज सईद को हाफिज साहब। उनका कहना था कि बटला हाउस एनकाउंटर में आतंकवादियों के मारे जाने के बाद सोनिया गांधी कई रात नहीं सोई थीं। पात्रा ने कहा कि संप्रग सरकार ने देश के साथ धोखा किया और सत्ता में रहने के दौरान कांग्रेस पर भरोसा नहीं किया जा सकता।

 

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