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विपक्षी दलों की बैठक के बाद गुलाम नबी आजाद ने कहा, भाजपा को छोड़कर देश में हर कोई परेशान

कांग्रेस के नेतृत्व में आर्थिक मोर्चे पर मोदी सरकार को घेरने के लिए समान विचारधारा वाले 13 विपक्षी दलों...
विपक्षी दलों की बैठक के बाद गुलाम नबी आजाद ने कहा, भाजपा को छोड़कर देश में हर कोई परेशान

कांग्रेस के नेतृत्व में आर्थिक मोर्चे पर मोदी सरकार को घेरने के लिए समान विचारधारा वाले 13 विपक्षी दलों की बैठक हुई जिसमें आर्थिक मंदी, बेरोजगारी, कृषि संकट के साथ 16 देशों के बीच होने जा रहे क्षेत्रीय आर्थिक भागीदारी समझौते (आरसीईपी) पर चर्चा हुई। कांग्रेस ने कहा कि 70 सालों में इतनी संवेदनहीन सरकार नहीं देखी। देश में भाजपा को छोड़कर हर कोई परेशान है।

बैठक के बाद कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा, '50 साल में इतनी बेरोजगारी कभी नहीं थी और ये बढ़ती जा रही है। पढ़े लिखे लोगों की बेरोजगारी बढ़ रही है। दुनिया की बेरोजगारी से दोगुनी बेरोजगारी भारत में है, इसकी चिंता देश को खाए जा रही है। गिरती अर्थव्यवस्था पर सरकार का कोई ध्यान नहीं है। निजी निवेश से लेकर औद्योगिक विकास घट गया है।'

'खाली हो जाएगा आरबीआई'

उन्होंने कहा, 'मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में ग्रोथ माईनस में चली गई है। एनपीए आठ लाख करोड़ तक पहुंच गया है। बैंक फ्रॉड काफी बढ़ गया है। चूहे की तरह आरबीआई  को खाएं जा रहे है। इसका रिजर्व फंड खाली हो गया है। अगर चार साल यह सरकार रही तो आरबीआई खाली हो जाएगा। किसानों को एमएसपी नहीं मिल रहा। खेती में विकास की रफ्तार ठप है। डीजल, बिजली मंहगी हो रही है। कृषि यंत्रों पर टैक्स लगाया जा रहा है। तब किसान आत्महत्या न करे तो क्या करे।'

'गलत तरह से लागू हुई योजनाएं'

कांग्रेस नेता ने कहा, 'आरसीईपी पर उनकी पार्टी शुरु से खिलाफ नहीं थी। आरसीईपी और जीएसटी दोनों कांग्रेस द्वारा गढ़ी गई योजनाएं थीं और प्रगति पर थीं लेकिन मोदी सरकार ने जल्दबाजी में इसे बुरी तरह से लागू किया। आरसीईपी के मामले में जिस डॉक्टर को ऑपरेशन करना था उसका बीच में ही तबादला हो गया, कंपाउंडर को मालूम नहीं कि ऑपरेशन करना कैसे है?' यही  जीएसटी का हुआ।

'हमारे उत्पाद संरक्षित होने चाहिए' 

गुलाम नबी आजाद ने कहा कि हमारे देश के हितों की रक्षा होनी चाहिए थी। हमारे दुग्ध उत्पाद, कृषि उत्पाद, समुद्री उत्पाद आदि सभी को संरक्षित किया जाना चाहिए था। हमारे पास चीन के साथ यूएस डॉलर 70 बिलियन का व्यापार घाटा है। आरसीईपी के बाद चीन दुनिया के बाजारों में अपने उत्पादों को डंप कर रहा है। चीन के कई उत्पादों को भारतीय बाजारों में डंप किया जाएगा। क्या चीन अपने बाजारों में हमारे उत्पादों तक पहुंच की अनुमति देगा? 

कांग्रेस ने केंद्र की भाजपा सरकार को ‘आर्थिक मंदी, बढ़ती बेरोजगारी और खेती के संकट’ की विफलताओं को उजागर करने के लिए 5 से 15 नवंबर तक सड़कों पर उतरने की योजना बनाई है। कांग्रेस की कोशिश है कि इन मुद्दों पर विपक्ष को लामबंद किया जाए।

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