Advertisement

कारगिल विजय दिवस पर राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और केंद्रीय मंत्रियों ने सैनिकों को दी श्रद्धांजलि

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद, केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह, और अमित शाह ने...
कारगिल विजय दिवस पर राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और केंद्रीय मंत्रियों ने सैनिकों को दी श्रद्धांजलि

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद, केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह, और अमित शाह ने रविवार को कारगिल विजय दिवस की 21 वीं वर्षगांठ पर भारतीय सैनिकों के साहस और देशभक्ति को श्रद्धांजलि दी। गौरतलब है कि 1999 में भारतीय सेना ने कारगिल में पाकिस्तानी सैनिकों को परास्त कर विजय पताका फहराई थी।

इस मौके पर राष्ट्रपति कोविंद ने ट्विटर पर अपनी श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा, "कारगिल विजय दिवस हमारे सशस्त्र बलों के निडर दृढ़ संकल्प और असाधारण वीरता का प्रतीक है। मैं उन सैनिकों को सलाम करता हूं जिन्होंने दुश्मन से लड़ाई लड़ी और भारत माता की रक्षा के लिए अपना जीवन लगा दिया। उनके और उनके परिवारों के प्रति राष्ट्र हमेशा आभारी है।”

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, कारगिल विजय दिवस पर हम 1999 में हमारे देश की लगातार रक्षा करने वाले सशस्त्र बलों के साहस और दृढ़ संकल्प को याद करते हैं। उनकी वीरता पीढ़ियों को प्रेरित करती है।

गृहमंत्री अमित ने कारगिल युद्ध में मातृभूमि की रक्षा के लिए प्राण न्यौछावर करने वाले शहीदों को नमन करते हुए कहा,' कारगिल विजय दिवस भारत के स्वाभिमान, अद्भुत पराक्रम और दृढ़ नेतृत्व का प्रतीक है। मैं उन शूरवीरों को नमन करता हूं, जिन्होंने अपने अदम्य साहस से कारगिल की दुर्गम पहाड़ियों से दुश्मन को खदेड़ कर वहां पुन: तिरंगा लहराया। मातृभूमि की रक्षा के लिए समर्पित भारत के वीरों पर देश को गर्व है।'

इस मौके पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, केंद्रीय रक्षा राज्य मंत्री श्रीपद नाइक और तीनों सेना प्रमुखों ने कारगिल विजय दिवस पर राष्ट्रीय युद्ध स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित की। रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने वीडियो संदेश जारी करके वीरों के प्रति सम्मान जाहिर किया। रक्षामंत्री ने कहा कि हाल ही में मुझे लेह-लद्दाख जाने और वहां से कारगिल के वीर सपूतों को श्रद्धांजलि देने का अवसर प्राप्त हुआ था। मुझे यह कहते हुए खुशी हो रही है कि 20 वर्ष पहले के मुकाबले मैंने लद्दाख़ में बहुत बड़ा बदलाव देखा। उन्होंने कहा इस देश को सुरक्षित रखने का कार्य अगर सीमा पर हमारे सैनिक कर रहे हैं, तो इसकी एकता, अखंडता और भाईचारे को बरकरार रखना हमारी जिम्मेदारी है।

उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय सुरक्षा के दायरे में हम जो कुछ भी करते हैं, वह हमेशा आत्मरक्षा के लिए करते हैं, आक्रमण के लिए नहीं।अगर दुश्मन देश ने कभी हमारे ऊपर आक्रमण किया, तो हमने यह भी साबित कर दिया कि कारगिल की तरह हम उसे मुंहतोड़ जवाब देंगे।

रक्षामंत्री ने इससे पहले ट्वीट किया, ''कारगिल विजय दिवस की 21वीं वर्षगांठ पर मैं भारतीय सेना के बहादुर सैनिकों को सैल्यूट करता हूं जो सर्वाधिक चुनौतीपूर्ण हालात में दुश्मन से लड़े, जिसे दुनिया ने हाल के इतिहास में देखा है।''

राजनाथ ने अगले ट्वीट में लिखा, ''राष्ट्र की सेवा में अपना जीवन न्योछावर करने वालों के प्रति मेरी कृतज्ञता है। मैं उनके परिवारों को नमन करता हूं, जिन्होंने अपने प्रियजनों को खोने के बावजूद, हमारे क्षेत्र से दुश्मनों को बाहर निकालने के राष्ट्रीय संकल्प के समर्थन में लगातार खड़े रहे।'' रक्षामंत्री ने आगे कहा, ''मैं उन लोगों का भी आभारी हूं, जो युद्ध में अक्षम होने के बावजूद, अपने तरीके से देश की सेवा करते रहे और अनुकरणीय उदाहरण पेश किए।''

 

Advertisement
Advertisement
Advertisement
  Close Ad