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27 January 2022

यूपी की सियासी लड़ाई: पहले चरण में योगी के 9 मंत्रियों की साख दांव पर, जानें कौन है वो मंत्री?

चुनाव आयोग ने निर्धारित किया है कि उत्तर प्रदेश में 7 चरण में मतदान होंगे। यूपी में पहले चरण का मतदान 10 फरवरी को होगा। आपको बता दें कि पहले चरण के मतदान में योगी सरकार के नौ मंत्रियों के भाग्य का फैसला होगा।

मतदान का पहला चरण इसलिए भी अत्यंत महत्वपूर्ण है क्योंकि इसमें पश्चिमी यूपी के ऐसे जिले शामिल हैं, जहां कई निर्वाचन क्षेत्रों के उम्मीदवारों को मुख्य रूप से किसान आंदोलन के कारण नाराज़ वोटरों का सामना करना पड़ रहा है।

इस चरण में चुनाव लड़ने वाले पहले मंत्री शामली जिले की थाना भवन विधानसभा सीट से गन्ना मंत्री सुरेश राणा हैं। राणा को एक तेजतर्रार हिंदू नेता के रूप में जाना जाता हैं और वह मुजफ्फरनगर दंगों के आरोपी भी थे। उन्होंने इस सीट से 2012 और फिर 2017 में जीत हासिल की।

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2012 में, उन्होंने 265 वोटों के मामूली अंतर से थाना भवन की सीट जीती थी, लेकिन 2017 में उनका अंतर बढ़कर 16,000 वोटों से अधिक हो गया। हालांकि, योगी आदित्यनाथ सरकार ने उनके खिलाफ दर्ज मामले वापस ले लिए हैं, लेकिन गन्ना एमएसपी में अपर्याप्त वृद्धि और बकाया के मुद्दे पर मंत्री को अपने निर्वाचन क्षेत्र में प्रतिरोध का सामना करना पड़ रहा है, जिससे उन्हें चुनाव में भारी नुकसान भी पहुँच सकता है।

इस चरण में चुनाव लड़ने वाले दूसरे मंत्री गाजियाबाद से अतुल गर्ग हैं। जिन्होंने 2017 में बसपा उम्मीदवार को 70,000 से अधिक मतों के अंतर से हराया था और अब इस बार उन्हें अपनी सीट बरकरार रखने की चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है।

यूपी के ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा को भी अपने निर्वाचन क्षेत्र मथुरा में एक महत्वपूर्ण परीक्षा का सामना करना पड़ सकता है।  2017 में, शर्मा ने कांग्रेस के प्रदीप माथुर को 1.43 लाख से अधिक मतों के अंतर से हराया था। माथुर की इस सीट से वह तीन बार के विधायक रह चुके हैं और इस बार अपनी सीट फिर से हासिल करने के लिए दिन-रात मेहनत कर रहे हैं। मथुरा अब भाजपा के राजनीतिक एजेंडे की ओर बढ़ रहा है, ऐसे में इस निर्वाचन क्षेत्र में मुकाबला दिलचस्प होना तय है।

पहले चरण में चौथे मंत्री स्वर्गीय कल्याण सिंह के पोते संदीप सिंह हैं। संदीप, योगी आदित्यनाथ सरकार के कुछ लो-प्रोफाइल मंत्रियों में से एक रहे हैं और अपने कार्यकाल में विवादों से दूर रहे हैं। वह अलीगढ़ के अतरौली से फिर से चुनाव लड़ रहे हैं, जिसे कल्याण सिंह परिवार का गढ़ माना जाता है।  कल्याण सिंह इस सीट से ग्यारह बार जीते थे, जो अपने आप में एक रिकॉर्ड है।

पर्यावरण राज्य मंत्री अनिल शर्मा बुलंदशहर जिले की शिकारपुर सीट से फिर से चुनाव लड़ रहे हैं। इस सीट को बीजेपी का गढ़ माना जाता है और पार्टी यहां से पिछले पांच चुनावों में जीती है.  अनिल शर्मा का यह दूसरा चुनाव है।

पहले चरण के मतदान में छठे मंत्री मुजफ्फरनगर सदर सीट से कपिल देव अग्रवाल हैं। यह सीट किसानों के आंदोलन का केंद्र रही है और अग्रवाल को इस बार कड़ी चुनौती का सामना करना पड़ सकता है।

बाढ़ नियंत्रण विभाग संभालने वाले दिनेश खटीक को चार महीने पहले सितंबर 2021 में मंत्री नियुक्त किया गया था। वह यूपी विधानसभा में हस्तिनापुर निर्वाचन क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करते हैं। हस्तिनापुर का इतिहास रहा है कि वहाँ से जीते प्रत्याशी दोबारा नहीं जीतते हैं। गौरतलब हो कि खटीक आरएसएस की पृष्ठभूमि से आते हैं और इलाके में ईंट भट्ठों के कारोबार से जुड़े हैं।

समाज कल्याण मंत्री डॉ जी एस धर्मेश अपनी आगरा कैंट सीट से फिर से चुनाव लड़ रहे हैं जो आरक्षित श्रेणी में है। डॉ धर्मेश आगरा-ग्वालियर हाईवे पर अपना क्लीनिक चलाते हैं।  इस सीट पर उनकी फाइट बसपा से है।

पहले चरण में एक और मंत्री डेयरी विकास मंत्री चौधरी लक्ष्मी नारायण हैं। वह मथुरा की छत्ता विधानसभा सीट से चुनाव लड़ रहे हैं। उन्होंने पहली बार 1996 में कांग्रेस के टिकट पर चुनाव जीता और फिर कांग्रेस में विभाजन के बाद कल्याण सिंह सरकार में मंत्री बने। वहीं, 2007 में, उन्होंने बसपा के टिकट पर जीत हासिल की और फिर बाद में वो बीजेपी में शामिल हो गए और 2017 में, उन्होंने भाजपा के टिकट पर जीत हासिल की। 

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TAGS: UP election, Yogi Adityanath, First phase of UP, Suresh Rana, Atul Garg, Srikant Sharma
OUTLOOK 27 January, 2022
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