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06 October 2020

राहुल की ट्रैक्टर रैली: 100 कार्यकर्ताओं के साथ हरियाणा में की एंट्री, धरने के बाद सरकार ने दी इजाजत

कृषि विधेयकों के विरोध में कांग्रेस खुलकर किसानों के साथ सड़कों पर आ गई है। राहुल गांधी पिछले तीन दिन से पंजाब व हरियाणा के देहाती इलाकों में ट्रैक्टर पर सवार होकर खेती बचाओं किसान बचाओ का संदेश दे रहे हैं। दो दिन तक पंजाब में अपनी ही सरकार की मेहमानवाजी में किसानाों के बीच शक्ति प्रदर्शन करने वाले राहुल ने यहां ढेड साल बाद होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए किसानी सियासत साधने की कोशिश की है। कांग्रेस का प्रयास है कि एनडीए से अलग होने का सारा लाभ अकेला अकाली दल न ले जाए।

 मंगलवार को पंजाब से सटे हरियाणा के पिहोवा के रास्ते पिपली गए राहुल की कोशिश  किसानों के उन जख्मों को हरा करने की है जो 10 सिंतबर को हरियाणा पुलिस के लाठीचार्ज से किसानों को इसी पिपली में प्रदर्शन दौरान मिले थे। पिहोवा पहुंचने पर भी पुलिस की सख्ती का सामना कांग्रेसियों को करना पड़ा। राहुल गांधी ट्रैक्टर चलाकर जैसे ही पंजाब से हरियाणा बॉर्डर पहुंचे तो पुलिस ने रोक लिया। 100 से ज्यादा लोगों को अनुमति नहीं थी। यहां धक्का-मुक्की भी हुई और राहुल धरने पर बैठ गए। कुछ देर बातचीत के बाद राहुल को 100 कार्यकर्ताओं के साथ हरियाणा में प्रवेश दिया गया।

  कांग्रेस की ट्रैक्टर रैली के मद्देनजर कुरुक्षेत्र और करनाल से आई  6-6 अतिरिक्त कंपनियां तैनात की गई हैं। कांग्रेस नेता रणदीप सिंह सुरजेवाला पटियाला से ही रैली के साथ हैं। पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा, दीपेंद्र सिंह हुड्डा, हरियाणा की प्रदेश अध्यक्ष कुमारी शैलजा भी रैली में शामिल हैं। पुलिस इस ट्रैक्टर रैली की वीडियोग्राफी करेगी। कुमारी शैलजा ने करनाल और कुरुक्षेत्र के डीएम से यात्रा की इजाजत ली है, रैली की नहीं। हरियाणा के सीएम मनोहर लाल खट्टर ने कहा है कि किसी को कानून हाथ में लेने की इजाजत नहीं दी जाएगी। राहुल गांधी को हरियाणा आने से रोका नहीं जाएगा। ट्रैक्टर रैली के जरिए कांग्रेस की हरियाणा में भाजपा जजपा गठबंधन सरकार पर दबाव बनाने की रणनीति है। कांग्रेस की इस रणनीति में कई किसान संगठन भी शामिल हैं जो भाजपा सरकार से जजपा के समर्थन वापस लेने का दबाव बनाए हुए हैं। इसी रणनीति के तहत सिरसा में मंगलवार को 17 किसान संगठनों ने जजपा नेता एंव उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला और उनके दादा रणजीत चौटाला का घर घेरा। कांग्रेस गठबंधन सरकार पर दबाव बनाकर अपना रास्ता साफ करने की फिराक में हैं। किसान आंदोलन के जरिए कांग्रेस की नजर बड़ोदा उपचुनाव पर भी है जहां कांग्रेस समर्थित किसान भाजपा नेताओं के चुनाव प्रचार का बहिष्कार कर रहे हैं।

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  केवल 100 कार्यकर्ताओं के साथ ट्रैक्टर रैली की शर्त का सामना राहुल गांधी को पंजाब में नहीं करना पड़ा। मोगा और पटियाला की रैलियों में हजारों की संख्या में उमड़े हजूम पर कोरोना के चलते केंद्रीय गृह मंत्रालय के 100 से अधिक लोगों के एक जगह एकत्रित न होने के निर्देश अमरिंदर सिंह सरकार ने कांग्रेस की रैलियों मंे लागू नहीं किए। पंजाब में दो दिन की ट्रैक्टर रैली में शामिल ज्यादतर लोग मास्क भी पहने नजर नहीं आए। कोरोना महामारी की रोकथाम के लिए केंद्रीय गृह मंत्रालय के िनर्देशों की धज्जियां राज्य सरकार द्वारा ही उड़ाए जाने पर पंजाब एंव हरियाणा हाईकोर्ट ने सरकार को नोटिस जारी किया है।  

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TAGS: हरियाणा, पंजाब, राहुल गांधी, किसान, कृषि कानून, ट्रैक्टर रैली, राजनीति, Rahul Gandhi, tractor rally, politics
OUTLOOK 06 October, 2020
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