Advertisement
15 January 2016

मां के प्यार ने खोज निकाला पाक जेल में बंद लाल

मां का यकीन पक्का निकला! तीन साल से भी ज्यादा समय से वह इंतजार कर रही हैं कि उनके होनहार बेटे निहाल हामिद अंसारी का कुछ अता-पता चले। उनके आसपास के सारे लोग, विदेश मंत्रालय के अधिकारियों में इस मां की हिम्मत बांधने में कोई मदद नहीं की। लेकिन मुंबई में रहने वाली फौजिया अंसारी ने अपनी कोशिशों को नहीं छोड़ा। अब जाकर उन्हें पता चला कि उनका बेटा नेहाल हामिद अंसारी जिंदा है और पाकिस्तान की जेल में बंद है। इस मुंबई से शुरू हुई बेटे की प्रेम कहानी पाकिस्तान की जेल में पहुंच गई।

मुंबई स्कूल में अध्यापिका फौजिया को जब ये पता चला कि उनका बेटा पाकिस्तान सेना की हिरासत में है। फौजिया ने बताया कि जब उन्हें पता चला कि नेहाल जिंदा है तो उनके आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे थे। उन्हें यह जानकारी पाकिसत्न में अपने वकील से मली। पाकिस्तान में हाई कोर्ट ने उन्हें बताया कि नेहाल का कोर्ट मार्शल कर उसे जेल में डाला गया है। अभी तक ये सब नहीं पता चला है कि नेहाल पर क्या आरोप लगा, उसे कब और कहां से गिरफ्तार किया गया। भारतीय विदेश मंत्रालय के अधिकारियों ने जिया की मदद करने का आश्वासन दिया है। फौजिया की आस थोड़ी और बुलंद हुई है।

यह मामला मुंबई के आईटी इंजीनियर, एमबीए हामिद अंसारी का जो 2012 में 28 साल का था। फौजिया ने बताया कि हामिद पाकिस्तान के आदिवासी इलाके में एक नौजवान लड़की नादिया पुश्तू के साथ फेसबुक पर संपर्क में आया और उससे प्रेम करने लगा। फिर उसे फेसबुक पर ही पता चला कि उसकी दोस्त की जबर्दस्ती शादी कराई जा रही है और उसे पाकिस्तान का वीजा नहीं मिला। वह अफगानिस्तान की राजधानी काबुल गया और वहां से कोहाट जाकर लड़की से मिलने की योजना बनाई। काबुल से ही उसने आखिरी बात यानी 10 नवंबर 2012 को अपनी मां से बात की। अपने घर में उसने बता रखा था कि वह काबुल में एक नौकरी के लिए इंटरव्यू देने जा रहा है। ये सारी जानकारी नेहाल हामिद अंसारी की मां फौजिया ने बाद में उसके कंप्यूटर से बाद में निकलवाई। बाद में यहां तक जानकारी मिली की नेहाल हामिद अंसारी 12 नवंबर 2012 को पाकिस्तान में अतुर-रहमान के पास तक पहुंचा था। इसके बाद का कोई अता-पता माता-पिता को नहीं मिला। आउटलुक ने 1-15 अगस्त 2014 के अंक में स्टोरी की थी।

Advertisement

story in outlook

 

अब फौजिया अंसारी को कम से कम इश बात का सुकून है कि उनका बेटा जिंदा है और किसी भी तरह से आईएस के चक्कर में नहीं पड़ा। उन्होंने कहा, आज मुझे लगता है कि आंसुओं की कद्र होती है। मेरा खून जिंदा है। अब उसे वापस लाना है।

रहस्य अब भी यह बरकरार है कि यह एक असफल प्रेम कहानी है या फिर मधुपाश (हनी ट्रैप) में फंसाने की कोशिश। फेसबुक या सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर होने वाले प्रेम की कितनी त्रासद परिणति होती, कम से कम इस बानगी तो यह मामला है ही। साथ ही मां के बुलंद हौंसलों की। 

 

 

 

 

 

अब आप हिंदी आउटलुक अपने मोबाइल पर भी पढ़ सकते हैं। डाउनलोड करें आउटलुक हिंदी एप गूगल प्ले स्टोर या एपल स्टोरसे
TAGS: pakistan, nehal hamid ansari, fauzia ansari, pak jail, नेहाल हामिद अंसारी, पाकिस्तान, विदेश मंत्रालय
OUTLOOK 15 January, 2016
Advertisement